विश्व नवकार महामंत्र दिवस: अहमदाबाद में विशेष डाक आवरण का अनावरण
"अहमदाबाद में आयोजित विश्व नवकार महामंत्र दिवस पर विशेष डाक आवरण जारी, सामूहिक जाप ने किया वैश्विक शांति का प्रचार।"

इस विशेष डाक आवरण पर भगवान पार्श्वनाथ के 2800वें निर्वाण कल्याणक पर एक डाक टिकट लगाया गया, जो इस कार्यक्रम की विशिष्टता को और बढ़ाता है। यह डाक आवरण जैन समुदाय के धार्मिक और सांस्कृतिक महत्व को दर्शाने का एक अद्वितीय तरीका है। इस डाक आवरण को फिलेटली का अहम हिस्सा बनाया गया है, जो देश-विदेश में नवकार महामंत्र के संदेश को फैलाएगा।
कार्यक्रम के दौरान, 8:01 बजे से 9:36 बजे तक, 25,000 से अधिक लोगों ने सामूहिक रूप से नवकार मंत्र का जाप किया, जिससे एक अद्भुत आध्यात्मिक अनुभव उत्पन्न हुआ। इस सामूहिक जाप ने न केवल जैन समुदाय के अनुयायियों को एकजुट किया, बल्कि पूरी दुनिया में शांति, अहिंसा और आंतरिक जागृति का संदेश भी फैलाया। इस अवसर पर प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने वर्चुअली अपने संबोधन में नवकार मंत्र के आध्यात्मिक महत्व को साझा किया। उन्होंने कहा, "नवकार महामंत्र सिर्फ मंत्र नहीं है। यह हमारी आस्था का केंद्र है, और यह समाज को मार्गदर्शन प्रदान करता है।"
प्रधानमंत्री ने इस मंत्र को जीवन में शांति, स्थिरता और अहिंसा का प्रतीक बताया और सभी से सामूहिक जाप के बाद नौ संकल्प लेने का आग्रह किया। इस मौके पर गुजरात के गृह मंत्री श्री हर्ष संघवी भी वर्चुअली कार्यक्रम से जुड़े और अपने विचार व्यक्त किए।
पोस्टमास्टर जनरल श्री कृष्ण कुमार यादव ने बताया कि इस विशेष आवरण का उद्देश्य जैन धर्म के सबसे पूजनीय और सार्वभौमिक मंत्र नवकार महामंत्र के महत्व को रेखांकित करना है। यह आवरण एक सांस्कृतिक प्रतीक के रूप में प्रस्तुत किया गया है, जिसमें नवकार मंत्र के शब्दों को सुंदरता से प्रदर्शित किया गया है। इसके माध्यम से युवा पीढ़ी को अपनी संस्कृति और विरासत से अवगत कराया जाएगा।
इस आयोजन में जैन समुदाय के विभिन्न पंथों जैसे श्वेतांबर, दिगंबर, तेरापंथी और स्थानकवासी के साधु-साध्वी, आचार्य और गच्छाधिपति भी शामिल हुए। कार्यक्रम में टोरेंट ग्रुप के चेयरमैन श्री सुधीर मेहता, जीतो अहमदाबाद इकाई अध्यक्ष श्री ऋषभ पटेल और जीतो के अन्य पदाधिकारी भी उपस्थित थे।
‘विश्व नवकार महामंत्र दिवस’ न केवल जैन धर्म के अनुयायियों के लिए, बल्कि सभी मानवता के लिए एक उपहार है। यह दिवस एकजुटता, शांति और नैतिक चेतना का प्रतीक है, जो अहिंसा और सद्भाव के सिद्धांतों को बढ़ावा देता है। इस आयोजन के जरिए नवकार मंत्र के सामूहिक जाप ने एक अभूतपूर्व आध्यात्मिक जागृति और सद्भाव की भावना को प्रोत्साहित किया।
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