शहर की तीनों विधानसभा सीटों पर हावी रहा कमल

(जैनुल आब्दीन) प्रयागराज। महानगर की तीनों विधानसभा सीटों पर भाजपा ने जीत दर्ज की है। इलाहाबाद लोकसभा सीट भले ही पार्टी की झोली में न आई हो, लेकिन इस लोकसभा क्षेत्र के तहत प्रयागराज महानगर की दक्षिणी विधानसभा सीट पर पार्टी ने 12 हजार वोटों से जीत हासिल की।

जून 5, 2024 - 18:59
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शहर की तीनों विधानसभा सीटों पर हावी रहा कमल
Kamal dominated all three assembly seats

इसी तरह #फूलपुरलोकसभा की उत्तरी विधानसभा सीट पर 32 हजार व पश्चिमी विधानसभा क्षेत्र में 15 हजार वोटों से पार्टी ने जीत दर्ज की। प्रयागराज महानगर की इन तीनों विधानसभा सीटों पर अच्छा प्रदर्शन करने के लिए महानगर अध्यक्ष राजेंद्र मिश्र ने महानगर के कार्यकर्ताओं को बधाई दी। कहा कि इलाहाबाद लोकसभा सीट से हम भले ही जीत न दर्ज कर पाएं हों, लेकिन शहर की सभी विधानसभा सीटों पर जीत मिली है। इलाहाबाद लोकसभा सीट पर हार की समीक्षा की जाएगी।लेकिन इस सीट के दक्षिणी विधानसभा क्षेत्र में कार्यकर्ताओं ने अथक परिश्रम किया और यहां से पार्टी ने जीत हासिल की है। इसी तरह फूलपुर लोकसभा क्षेत्र के उत्तरी एवं पश्चिमी विधानसभा क्षेत्र के कार्यकर्ताओं को महानगर अध्यक्ष ने बधाई दी और कहा कि प्रयागराज महानगर की तीनों विधानसभा सीट पर कार्यकर्ताओं की मेहनत का परिणाम मिला है।

#फूलपुर लोक सभा सीट पर भले ही सपा गठबंधन को भले ही हार का सामना करना पड़ा हो, मगर इतिहास में पहली बार इस सीट पर समाजवादी पार्टी को चार लाख से अधिक मत मिले हैं। सपा गठबंधन के प्रत्याशी अमरनाथ सिंह मौर्या ने 448268 मत हासिल किए। वह भाजपा के प्रवीण सिंह पटेल से मात्र 4332 मतों से हार गए। मगर पूर्व प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू की गढ़ में सपा ने पहली बार इतने अधिक मत हासिल किए। 

इससे पहले 2004 में समाजवादी पार्टी के बाहुबली नेता अतीक अहमद ने फूलपुर लोकसभा सीट पर जीत हासिल करते हुए 54209 मत हासिल किए थे। वहीं 2009 में सपा के उम्मीदवार श्याम चरण गुप्त ने 152964 मत हासिल किए थे। वह बसपा के कपिल मुनि करवरिया से चुनाव हार गए थे। 2014 में सपा के धर्मराज सिंह पटेल ने भाजपा के केशव प्रसाद मौर्या के खिलाफ 195256 मत हासिल किए थे। मगर वह चुनाव हार गए थे। इसके बाद 2019 के लोक सभा चुनाव में सपा के पंधारी यादव को 272735 मत मिले थे। उन्हें भाजपा की केसरी देवी पटेल ने हराया था। अगर देखा जाए तो फूलपुर लोकसभा सीट पर 2009 से समाजवादी का जनाधार लगातार बढ़ता रहा है। मगर उसे हार का सामना करना पड़ा है।

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